अमृतसर : पहलवान विनेश फोगाट को आज पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर पर सम्मानित किया गया। यहां किसान आंदोलन 2.0 के 200 दिन पूरे होने पर किसानों ने कार्यक्रम रखा गया था।

इस मौके पर विनेश फोगाट ने कहा- आज आपको यहां बैठे 200 दिन हो गए, लेकिन जोश पहले दिन जैसा ही है। आपकी बेटी आपके साथ है। मैं सरकार को कहती हूं कि देश के लोग हक की आवाज उठाते हैं तो हर बार यह पॉलिटिकल नहीं होता। इसे किसी धर्म से नहीं जोड़ना चाहिए।

अब वह खनौरी बॉर्डर जाएंगी। पेरिस ओलिंपिक से डिस्क्वालिफाई होने के बाद विनेश फोगाट को लगातार सम्मानित किया जा रहा है।

बीते कल (30 अगस्त) विनेश परिवार के साथ पंजाब के अमृतसर स्थित गोल्डन टेंपल में माथा टेकने पहुंचीं थीं। यहां उन्हें शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) की तरफ से सम्मानित किया गया। श्री दमदमा साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने विनेश को गोल्डन टेंपल का मॉडल देकर सम्मानित किया।

पति सोमवीर राठी व परिवार के साथ गोल्डन टेंपल पहुंचीं विनेश फोगाट।

पति सोमवीर राठी व परिवार के साथ गोल्डन टेंपल पहुंचीं विनेश फोगाट।

इससे पहले जींद में 27 अगस्त को खटकड़ टोल प्लाजा पर विनेश फोगाट का भव्य स्वागत किया गया। लोगों ने उन्हें चांदी का मुकुट पहनाकर सम्मानित किया।

करीब एक हफ्ता पहले उन्हें रोहतक में सर्वखाप पंचायत ने गोल्ड मेडल देकर सम्मानित किया। सर्वखाप का किसी भी व्यक्ति को सम्मान के रूप में दिया गया यह पहला गोल्ड मेडल है और यह सम्मान विनेश को मिला है।

सर्वखाप पंचायत के दिए मेडल को दिखाती विनेश फोगाट। इस दौरान दंगल मूवी से सुर्खियों में आए उनके ताऊ महावीर फोगाट भी मंच पर उनके साथ रहे।

सर्वखाप पंचायत के दिए मेडल को दिखाती विनेश फोगाट। इस दौरान दंगल मूवी से सुर्खियों में आए उनके ताऊ महावीर फोगाट भी मंच पर उनके साथ रहे।

फाइनल से पहले डिस्क्वालिफाई की गईं
गौरतलब है कि विनेश ने पेरिस ओलिंपिक में 50KG फ्री-स्टाइल कुश्ती कैटेगरी के फाइनल में जगह बनाई थी, लेकिन 7 अगस्त को फाइनल खेलने से पहले 100 ग्राम वजन अधिक पाए जाने पर उन्हें डिस्क्वालिफाई कर दिया गया था। फाइनल तक पहुंचने के लिए विनेश से दुनिया की अजेय पहलवानों को पटखनी दी थी।

कुश्ती से संन्यास का ऐलान
इसके बाद विनेश फोगाट ने कुश्ती से संन्यास का ऐलान कर दिया। इसे लेकर उन्होंने सोशल मीडिया पर पोस्ट भी डाली थी। उसमें लिखा था, “मां कुश्ती मेरे से जीत गई, मैं हार गई। माफ करना आपका सपना, मेरी हिम्मत सब टूट चुके। इससे ज्यादा ताकत नहीं रही अब। अलविदा कुश्ती 2001-2024, आप सबकी हमेशा ऋणी रहूंगी, माफी।”

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

banner