लखनऊ : विभिन्न आरोपों में निलंबित होने वाले परिषदीय शिक्षकों की बहाली अब उनके मूल विद्यालय में आसानी या जुगाड़ से नहीं हो पाएगी। सिर्फ जांच में दोषमुक्त होने वाले शिक्षक ही मूल विद्यालय में तैनात होंगे। बाकी दंड सहित बहाल होने वाले शिक्षकों को ऑनलाइन प्रक्रिया से विद्यालय आवंटित किया जाएगा। शासन से इसके दिशा निर्देश जारी होने के बाद अब निलंबन से बहाल होने वाले शिक्षकों की ऑनलाइन तैनाती प्रक्रिया 15 दिन में शुरू करने की तैयारी शुरू कर दी है।

विदित रहे कि जुलाई से दिसंबर तक चले विद्यालयों के निरीक्षण अभियान में गैर हाजिर मिले लगभग 700 से अधिक शिक्षकों का निलंबन हुआ है। इसके अलावा अन्य आरोपों में भी समय-समय पर शिक्षक निलंबित चल रहे हैं। महानिदेशक स्कूल शिक्षा विजय किरन आनंद ने निलंबित शिक्षकों के मामलों में स्पष्टीकरण प्राप्त करने के साथ ही जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।

दंड के बाद ऐसे होगी तैनाती
किसी शिक्षक को जांच के बाद उप्र बेसिक शिक्षा परिषद कर्मचारी वर्ग नियमावली 1973 के अनुसार दंड संख्या-1 के साथ बहाल किया जाता है तो उसे मूल विद्यालय नहीं मिलेगा। ऐसे शिक्षक को उसी विकासखंड के ऐसे विद्यालय में ऑनलाइन तैनाती दी जाएगी, जहां आरटीई मानकों के अनुसार जरूरत है।

यदि किसी शिक्षक को जांच के बाद नियमावली के दंड संख्या 2-6 (एक या अधिक) के साथ बहाल किया जाता है तो उसे जिले के शून्य अध्यापक वाले विद्यालय में भेजा जाएगा। यदि शून्य अध्यापक वाला विद्यालय नहीं है तो एकल अध्यापक वाले विद्यालय में भेजा जाएगा। यदि एकल अध्यापक वाला विद्यालय भी नहीं है तो आरटीई मानकों के अनुसार सबसे अधिक आवश्यकता वाले विद्यालय में तैनाती होगी।

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