- EPFO ने अपने अंशधारकों के लिए कई बड़े बदलाव किए हैं, इससे पीएफ से पैसा निकालने से लेकर ट्रांसफर की प्रक्रिया आसान और तेज हो गई है, पेंशनभोगियों को भी बड़ी राहत मिली है
दैनिक उजाला, बिज़नेस डेस्क : कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने अपने अंशधारकों के लिए इस साल कई बड़े बदलाव किए हैं। ईपीएफओ की ओर से किए गए बदलाव से करीब 7 करोड़ से ज्यादा सक्रिय सदस्यों को कई तरह की सहूलियत मिलेगी। इतना ही नहीं, आने वाले दिनों में भी कई बड़े बदलाव करने की तैयारी में है। आइए EPFO के 2025 के पांच सबसे महत्वपूर्ण परिवर्तनों के बारे में जानते हैं।
1. प्रोफाइल अपडेट करना हुआ बेहद आसान
EPFO ने अब प्रोफाइल अपडेट करने की प्रक्रिया को काफी सरल बना दिया है। अगर आपका यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (UAN) आधार से लिंक है, तो अब आप बिना किसी दस्तावेज के अपना नाम, जन्मतिथि, लिंग, राष्ट्रीयता, माता-पिता का नाम, वैवाहिक स्थिति, जीवनसाथी का नाम और नौकरी शुरू करने की तारीख जैसी जानकारियां ऑनलाइन अपडेट कर सकते हैं।
2. PF ट्रांसफर करना अब हुआ आसान
पहले नौकरी बदलते समय PF ट्रांसफर करना एक लंबी और कई बार परेशानी वाली प्रक्रिया थी। कंपनी की मंजूरी के बिना काम नहीं हो पाता था। लेकिन अब यह प्रक्रिया काफी आसान कर दी गई है। अब ज्यादातर मामलों में PF ट्रांसफर के लिए पुराने या नए नियोक्ता की मंजूरी की जरूरत नहीं होती। इससे PF का पैसा नए खाते में जल्दी और आसानी से ट्रांसफर हो जाता है।
3. ज्वाइंट डिक्लेरेशन करना आसान हुआ
EPFO ने ज्वाइंट डिक्लेरेशन प्रक्रिया को डिजिटल बना दिया है। अगर आपका UAN आधार से लिंक है या आधार पहले से सत्यापित है तो आप संयुक्त घोषणा ऑनलाइन जमा कर सकते हैं।
4. सीपीपीएस व्यवस्था शुरू की गई
ईपीएफओ ने केंद्रीकृत पेंशन भुगतान प्रणाली (सीपीपीएस) शुरू कर दी है। इसके तहत अब पेंशन एनपीसीआई प्लेटफॉर्म के जरिए सीधे किसी भी बैंक खाते में भेजी जाएगी। पहले पेंशन भुगतान के लिए पीपीओ (पेंशन पेमेंट ऑर्डर) को एक क्षेत्रीय कार्यालय से दूसरे क्षेत्रीय कार्यालय में ट्रांसफर करना पड़ता था, जिससे देरी होती थी।
5. वेतन पर पेंशन की प्रक्रिया स्पष्ट हुई
जो कर्मचारी अपने अधिक वेतन पर पेंशन लेना चाहते हैं, उनके लिए EPFO ने अब पूरी प्रक्रिया स्पष्ट कर दी है। अब सभी के लिए एक समान तरीका अपनाया जाएगा। अगर किसी कर्मचारी का वेतन तय सीमा से अधिक है और वह इस पर पेंशन चाहता है तो वह अतिरिक्त अंशदान देकर यह सुविधा प्राप्त कर सकता है।